अगर आप किसी प्रियजन की देखभाल करने वाले हैं, तो आप उन्हें उनके द्वारा किए गए परिवर्तनों को स्वीकार करने और समाधान और रणनीतियों की तलाश करने के लिए प्रोत्साहित करके एक महत्वपूर्ण भूमिका भर सकते हैं जो उन्हें एक उज्ज्वल और संपन्न जीवन जीने में मदद करेगा।
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बुढ़ापे में स्वस्थ रहने के उपाय के साथ ही डायट पर भी ध्यान दें
बुढ़ापे में स्वस्थ रहने के उपाय अगर अपना रहे हैं, तो साथ ही आपको उनके खाने-पीने का समय भी फिक्स करना चाहिए। ताकि, उनके शरीर को समय-समय पर उचित मात्रा में एनर्जी मिलती रहे।
संतुलित भोजन खिलाएं
सबसे पहले उनके भोजन पर ध्यान दें। उन्हें हमेशा संतुलित भोजन ही खिलाएं। भोजन ऐसा हो जो आसानी से पच सके। एक बार में पेट भर कर खाना खाने की बजाय उन्हें थोड़ी-थोड़ी मात्रा में करके कुछ अंतराल पर भोजन खिलाएं। आप उनके खाने के लिए नीचे दिए गए टाइम टेबल को भी फॉलो कर सकते हैंः
सुबह का नाश्ता
प्रात: 7.30 से 8.30 बजे के बीच। निम्र में से कोई एक या दो चीज मौसमी फल, अंकुरित अनाज, मलाई निकला हुआ दूध, दलिया या खिचड़ी।
दोपहर का भोजन
दिन के 12 से 1 बजे के बीच। हरी सब्जियों या टमाटर का सूप, सलाद जैसे ककड़ी, खीरा, टमाटर, मूली, गाजर, चुकंदर आदि खाने के आधे घंटे पहले दें। हरी सब्जी उबली हुई या पकाई हुई, चोकर सहित आटे की एक या दो रोटी के साथ दिन में एक बार दही।