ट्यूबरक्युलॉसिस (Tuberculosis)
ट्यूबरक्युलॉसिस (Tuberculosis) यानी टीबी एक ऐसा बैक्टीरियल इंफेक्शन है, जो हमारे बॉडी टिशू पर हमला कर उन्हें नष्ट कर देता है। यह बीमारी माइकोबैक्टीरियम ट्यूबरक्युलॉसिस (Mycobacterium tuberculosis) नामक बैक्टीरिया की वजह से होती है, जो हवा के जरिए फैलती है। टीबी के बैक्टीरिया उन पर तेजी से हमला करते हैं, जिनका इम्यून सिस्टम कमजोर होता है। खासतौर पर उन्हें जो एचआईवी या कैंसर से पीड़ित रह चुके हों। ज्यादातर यह बीमारी व्यक्ति के फेफड़ों को प्रभावित करती है। लेकिन, यह हड्डियों, लिम्फ ग्रंथियों, आंतों, दिल, दिमाग के साथ-साथ अन्य अंगों को भी प्रभावित कर सकती है।
रेस्पायरेटरी हेल्थ को बेहतर बनाए रखने के लिए किन बातों पर ध्यान देने की जरूरत पड़ती है? (Tips for Respiratory Problems)
कई बार हम अपने फेफड़ों पर अधिक ध्यान नहीं देते लेकिन, हमारे स्वास्थ्य के लिए यह जरूरी है। जैसे रेस्पायरेटरी सिस्टम हमारे शरीर का ख्याल रखता है, वैसे ही हमें भी उसका ख्याल रखना चाहिए। jरेस्पायरेटरी हेल्थ को बेहतर बनाए रखने के लिए किन बातों पर ध्यान देने की जरूरत पड़ती है जानिए?
- धूम्रपान न करें (Don’t Smoke) :अधिकतर रेस्पायरेटरी समस्याओं का कारण धूम्रपान है। धूम्रपान करने से एयर पैसेज तंग हो जाता है। जिससे सांस लेने में समस्या होती है। इससे क्रोनिक सूजन या फेफड़ों में सूजन भी हो सकती है। इससे कैंसर की संभावना भी बढ़ जाती है, इसलिए धूम्रपान न करें।
- इनडोर प्रदूषकों के सम्पर्क में आने से बचें (Avoid exposure to indoor pollutants): सेकेंड हैंड स्मोक, घर या ऑफिस में केमिकल आदि से भी रेस्पायरेटरी हेल्थ (Respiratory Health) को नुकसान होता है। जिससे लंग डिजीज बदतर हो सकती है। इसलिए घर और कार को स्मोक फ्री बनाएं।
- घर के बाहर के प्रदूषण से बचें (Avoid outdoor pollution): एयर की गुणवत्ता दिनों दिन कम होती जा रही है और यह रेस्पायरेटरी हेल्थ (Respiratory Health) के लिए भी प्रदूषण नुकसानदायक है। लंबे समय तक इसके जोखिम को कम करने के लिए बाहरी प्रदूषण के कम संपर्क में आने के तरीकों पर विचार करें।
- इंफेक्शन से बचें (Avoid infection): कई बार सामान्य रेस्पिरेटरी इंफेक्शन भी गंभीर हो सकते हैं, ऐसे में इनसे खुद को बचना जरूरी है। इसलिए अपने हाथों को जितना हो सके साबुन और पानी से धोएं, सर्दी- जुकाम के मौसम में भीड़ वाली जगह पर न जाएं, ओरल हाइजीन बनाये रखें, हर साल इन्फुएन्ज़ा का टीका लगवाएं और अगर आप बीमारी पड़ते हैं तो अपना ध्यान रखें।
- नियमित चेकअप (Regular checkup): नियमित चेकअप से भी बीमारियों से बचा जा सकता है, खासतौर पर फेफड़ों की बिमारियों से। जिनके बारे में तब तक पता नहीं चलता, जब तक यह गंभीर नहीं हो जाती।
- व्यायाम (Exercise) : आप चाहे किसी भी उम्र के हैं किसी भी गंभीर बीमारी से बचने के लिए आपका फिजिकल एक्टिव होना जरूरी है। इसे न केवल आप बल्कि आपके फेफड़े भी स्वस्थ रहेंगे।
रेस्पायरेटरी हेल्थ बेहतर बनाए रखने के लिए किन एक्सरसाइजेज को किया जाना चाहिए? (Exercises for Respiratory Problems)
जब आप शारीरिक रूप से सक्रिय होते हैं, तो दिल और फेफड़े आपकी मांसपेशियों की अतिरिक्त ऑक्सीजन की आपूर्ति के लिए कड़ी मेहनत करते हैं। जैसे नियमित व्यायाम आपकी मांसपेशियों को मजबूत बनाता है, वैसे ही यह आपके फेफड़ों और दिल को भी मजबूत बनाता है। जानिए रेस्पायरेटरी हेल्थ (Respiratory Health) बेहतर बनाए रखने के लिए आपको कौन सी एक्सरसाइज करनी चाहिए:
सैर (Walk)
सैर आपके संपूर्ण स्वास्थ्य के साथ ही आपके फेफड़ों के लिए भी लाभदायक साबित हो सकती है। रेस्पायरेटरी हेल्थ (Respiratory Health) बेहतर बनाए रखने के लिए आप रोजाना कुछ मिनट सैर अवश्य करें।
लिप ब्रीदिंग (Lip Breathing)
पर्स लिप्ड ब्रीदिंग एक सांस लेने की तकनीक है जो जिसमे आप अपने सांस लेने की प्रक्रिया को प्रभावी बना सकते हैं। इसे करने के लिए आप सीधा और शांत बैठना है। दो सेकंड के लिए नाक के माध्यम से सांस लेनी है और यह महसूस करना है कि यह हवा आपके पेट में जा रही है। अब अपने होंठों को ऐसे बनाना है जैसे आप सीटी बजा रहे हैं और धीरे-धीरे सांस छोड़ देनी है। इसी प्रक्रिया को दोहराना है।
डायाफ्रामिक ब्रीदिंग (Diaphragmatic Breathing)
इस ब्रीदिंग को बैली ब्रीदिंग भी कहते हैं। इसके करने के लिए जमीन पर आराम से लेट जाएं। एक हाथ को छाती और दूसरे को पेट पर रखें। अब दो सेकंड के लिए नाक के माध्यम से सांस लें। इसमें आपको यह महसूस होना चाहिए कि हवा आपकी नासिकाओं के माध्यम से पेट में जा रही है। इस तरह की ब्रीदिंग में यह बात का ख्याल रखें कि आपका पेट मूव कर रहा हो, लेकिन छाती स्थिर हो। अब अपने होंठों को ऐसा कर लें जैसे सीटी बजा रहे हों और अपने पेट को धीरे से दबाकर सांस छोड़ दें। इसे दोहराएं।
रेस्पायरेटरी हेल्थ बेहतर बनाए रखने के लिए किन चीज़ों से बचाव जरूरी है? (Prevention for Respiratory Problems)
रेस्पायरेटरी हेल्थ (Respiratory Health) बेहतर बनाए रखने के लिए कुछ चीजों का ध्यान रखना बेहद जरूरी है। अगर आप कुछ चीजों को नजरअंदाज करेंगे, तो आपको सांस संबंधी रोगों से भी आराम मिलेगा। यह चीजें इस प्रकार हैं:
- स्मोकिंग और सेकंडहैंड स्मोक (Smoking and Secondhand Smoke)
- रोगाणु (Germs) रोगाणुओं से बचने के लिए अपने हाथों को समय-समय पर धोते रहें।
- स्मोक, गैस, मिट्टी, धुएं आदि से बचे (Avoid Smoke, Gas, Dust, Fum)
- केमिकल, सॉल्वैंट्स और पेंट आदि से बचे (Avoid Chemicals, Solvents and Paints)
जिन्हे रेस्पायरेटरी तकलीफें हैं, उन्हें कौन सी सावधानियां रखनी चाहिए?
रेस्पायरेटरी तकलीफें संक्रमण के कारण, धूम्रपान या वायु प्रदूषण आदि के कारण हो सकती हैं। ऐसे में सबसे जरूरी है बचाव। रेस्पायरेटरी हेल्थ (Respiratory Health) को बनाए रखने के लिए आपको कुछ चीजों का खास ध्यान रखना चाहिए। कुछ सावधानियां बरत कर आप न केवल इन हेल्थ प्रॉब्लम्स से राहत पा सकते हैं बल्कि सामान्य जीवन भी जी सकते हैं। यह सावधानियां इस प्रकार हैं:
- शारीरिक रूप से एक्टिव रहें (Physical Fit)
- अच्छा और संतुलित आहार का सेवन करें (Right Food)
- अधिक से अधिक पानी पीएं (Enough Water)
- अपने घर में कुछ पौधों को लगाएं (Plant some plants in your House)
- अपने हाथों को अच्छे से साफ करें (Wash your Hands)
- धूम्रपान या तंबाकू आदि से दूर रहें (Stay away form Smoking and Tobacco)
- साफ सफाई का खास ख्याल रखें (Take Special Care of Cleanliness)
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इसके साथ ही तनाव से बचाव और पर्याप्त नींद लेना आदि भी रेस्पायरेटरी हेल्थ (Respiratory Health) के लिए जरूरी है। अगर आपको कभी भी सांस लेने में समस्या या दर्द, लगातार खांसी आना, एक्सरसाइज करते हुए खांसी, एयरवेज में दर्द आदि हो तो यह रेस्पायरेटरी समस्या (Respiratory Problems) की तरफ इशारा हो सकता है। ऐसे में तुरंत डॉक्टर की सलाह अनिवार्य है।