टाटा मेन हॉस्पिटल सहित देश के बड़े अस्पतालों में सेवा दे चुके जमशेदपुर के सीनियर कंसल्टेंट यूरोलॉजिस्ट डॉ. संजय जोहरी बताते हैं कि सामान्य तौर पर एक वयस्क को जो किसी ऑफिस में रहकर या घर में रहकर काम करता है उसको एक दिन में औसतन 2.5 लीटर का पानी पीना चाहिए। क्योंकि व्यक्ति का एक दिन में थूक, लार व पसीने से लगभग आधा लीटर पानी निकल जाता है। भारत उष्णकटिबंधीय (tropical) देश है। ऐसे में यहां पर सूर्य की रोशनी का सीधा संपर्क ज्यादा है। जो लोग शारीरिक तौर पर ज्यादा मेहनत करते हैं, पेशे से मजदूर हैं व जिनका आउटडोर काम ज्यादा है व स्पोर्ट्समैन हैं, ऐसे लोगों को दिन में औसतन 3.5 लीटर पानी पीना चाहिए। ऐसे लोगों का दिन में लगभग एक लीटर पानी पसीने, लार या थूक के जरिए निकल जाता है। यदि ये लोग कम पानी पिएंगे तो उनके पेशाब का रंग बदलेगा, वहीं यदि ये लोग जो शारीरिक मेहनत कम करते हैं, यदि वो धूप में बिना नियमित पानी पिए ज्यादा काम करेंगे तो उनके पेशाब के रंग में परिवर्तन आएगा। जो उनकी स्वास्थ्य के लिए सही नहीं है। यहां ध्यान देने वाली बात यह कि धोनी को देखकर उनकी तरह व जितना पानी वो पीते हैं उतना पानी कतई नहीं पीना चाहिए, बल्कि अपने शरीर, जरूरत, आप इन डोर काम करते हैं या आउटडोर, इन तमाम चीजों को ध्यान देकर पानी का सेवन करना चाहिए। तभी आपके शरीर में पानी की कमी नहीं होगी और आपको किसी दूसरी समस्या की बजाय हेल्थ बेनीफिट्स मिलेंगे। जरूरी हो तो आप इस मामले में एक्सपर्ट की सलाह तक ले सकते हैं।
एक नजर यहां भी
3.25 फीसदी फैट के साथ100 ग्राम दूध में पाए जाने वाले तत्व
- 61 कैलोरी
- 4.8 ग्राम कार्बोहाइड्रेड
- 3.25 ग्राम फैट
- 3.15 ग्राम प्रोटीन
100 ग्राम लो फैट मिल्क में पाए जाने वाले तत्व
- 43 कैलोरी
- 4.97 ग्राम कार्बोहाइड्रेड
- 0.97 ग्राम फैट
- 3.48 ग्राम प्रोटीन
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एम एस धोनी डायट प्लान में दलिया भी आता है। दलिया के कई फायदे हैं। एक तो इसे बनाना काफी आसान है और इसे दूध व अन्य वस्तुओं के साथ आसानी से खा सकते हैं। यह हेल्दी सिरीअल के नाम से जाना जाता है और न्यूट्रिएंट्स से भरपूर होता है। इसमें काफी मात्रा में फाइबर होता है, ऐसे में इसे पचाना काफी आसान होता है। वहीं इसमें जरूरी विटामिन्स होते हैं जिस कारण इसका सेवन करने वाले प्रोटीन और आयरन मिल जाता है। इसका सेवन कर वेट लॉस करने के साथ खाने को आसानी से पचा सकते हैं। यह हमारे हार्ट के लिए भी बेस्ट डायट होने के साथएंटी इंफ्लैमटोरी तत्व पाए जाते हैं। वहीं इसे बनाना भी काफी आसान है, इसे खिचड़ी, उपमा, दलिया सलाद, ढोकला, खीर जैसी मनपसंद रेसिपी तैयार कर सेवन कर सकते हैं।
अतिरिक्त फैट को कहते हैं न
एम एस धोनी डायट प्लान में कभी भी अतिरिक्त फैट को शामिल नहीं करते हैं। शरीर में सिर्फ उतना ही अतिरिक्त फैट चाहते हैं जिससे शरीर के अंग सामान्य से रूप से काम कर सकें। अतिरिक्त फैट को वर्कआउट कर बर्न करना पसंद करते हैं।
फ्रेश जूस का करते हैं सेवन
एम एस धोनी डायट में सोडा और ड्रिंक का सेवन करने से परेहज करते हैं, वहीं इसके अलावा फ्रेश जूस का सेवन करना पसंद करते हैं। सब्जियों और फलों से न्यूट्रिएंट्स हासिल करने का सबसे बेहतर तरीका यही है कि इनका जूस बनाकर सेवन किया जाए। हम चाहें तो इसके लिए अपनी डायट में रोजाना फ्रेश जूस को शामिल कर सकते हैं। वहीं पैक्ड जूस का परहेज करना चाहिए, क्योंकि उसमें एडेड शुगर होता है।
प्रोटीन ड्रिंक का करें सेवन
प्रोटीन शेक हमारे फिटनेस और हेल्थ की दुनिया का अहम हिस्सा हैं। धोनी भी अपने वर्कआउट के दौरान पर्याप्त मात्रा में प्रोटीन ड्रिंक का सेवन करना पसंद करते हैं। यदि आप भी अपने फिटनेस को बरकरार रखने की सोच रखते हैं तो आपको वर्कआउट के दौरान प्रोटीन ड्रिंक का सेवन करना चाहिए। यदि सामान्य व्यक्ति प्रोटीन शेक का सेवन करना चाहता है तो सही प्रोटीन ड्रिंक का चयन करने को लेकर आप एक्सपर्ट की मदद ले सकते हैं, इसके लिए आप चाहें तो न्यूट्रिशनिस्ट के साथ डायटिशियन की सलाह ले सकते हैं।
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फिटनेस पर धोनी देते हैं पूरा ध्यान
धोनी अपनी फिटनेस पर काफी ज्यादा ध्यान देते हैं, मीडिया रिपोर्ट्स की मानें तो धोनी को सबसे अधिक रनिंग पसंद है। कई इंटरव्यू में धोनी ने कबूला कि उन्हें तमाम एक्सरसाइज में रनिंग ज्यादा पसंद है। कई बार धोनी फुटबॉल खेलते हुए भी नोटिस किए गए हैं। धोनी फुटबॉल और बैडमिंटन खेलने के शौकीन हैं। बैडमिंटन खेल यह अपनी एकाग्रता क्षमता, फुटवर्क और आंखों की रोशनी को बढ़ाते हैं।
एमएस धोनी डायट के अलावा करते हैं चार घंटे वर्कआउट
धोनी अपनी टीम के साथ चार घंटे वर्कआउट करते हैं। वर्कआउट में टीम सबसे पहले मैदान के चारों ओर के चक्कर लगाते हैं, ऐसा कर टीम वार्मअप होती है। यह इसलिए भी जरूरी है ताकि टीम के खिलाड़ियों में स्टैमिना विकसित हो, जो खेल के मैदान में देखने को मिले। क्रिकेट के मैदान के अलावा माही जिम में कार्डियो व अन्य एक्सरसाइज भी करते हैं। विकेट के पीछे खड़े होकर माही को घंटों झुककर रहना होता है, ताकि गेंद आए तो उसे तेजी से लपककर स्टंप्स उड़ा सकें। इसके लिए वो अपनी स्ट्रेंथ बढ़ाने पर ध्यान देते हैं, ताकि इंज्युरी से बच सकें, थकान कम कर सकें, रनिंग स्पीड को बढ़ा सकें, गेंद को ज्यादा दूरी तक फेंक सके, एकाग्रता के साथ बैटिंग कर सकें। इन तमाम चीजों को बढ़ाने के लिए धोनी करते हैं इस प्रकार की एक्सरसाइज-
एमएस धोनी के जिम वर्कआउट पर एक नजर
- सिंगल लेग डेडलिफ्ट
- वाकिंग लंग्स विद डंबल
- डंबल चेस्ट प्रेस
- मशीन चेस्ट प्रेस
- वी ग्रिप लेटरल पुलडाउन
- लेटरल पुलडाउन
- रिवर्स लंग ऑन बेंच
- प्रोन डंबल रोइंग
- अल्टरनेट डंबल कर्ल
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एम एस धोनी डाइट प्लान अपनाने के लिए खा सकते हैं यह डायट
ऊपर बताई गई खाद्य सामग्री स्वास्थ्य के लिए काफी लाभकारी हैं। यदि उसे अपनाना है कि तो आप नियमित तौर पर उसे अपनी डायट में शामिल कर सकते हैं। वहीं यदि आपको किसी खास खाद्य पदार्थ से एलर्जी है तो उस स्थिति में बेहतर यही होगा कि आप न्यूट्रिशनिस्ट की सलाह लेकर ही सेवन करें। वैसे धोनी की डायट को हर कोई अपना सकता है, लेकिन उनकी तरह फिटनेट पाने के लिए आपको अपनी वर्कआउट पर भी फोकस करना होगा।
इस पूरे लेख का यही निष्कर्ष निकला की एम एस धोनी डायट प्लान में दाल, दलिया, दूध पौष्टिक खाद्य पदार्थों के अलावा फल आदि शामिल हैं। वहीं धोनी जूस पीना काफी पसंद करेत हैं। जो न्यूट्रिएंट्स से भरपूर हैं। ऐसे में आम व्यक्तियों को पौष्टिक खाना तो जरूर सेवन करना चाहिए, वहीं धोनी को आयडल मानकर ही सही उनकी तरह फिटनेस पाने के लिए नियमित एक्सरसाइज करना चाहिए। डायट प्लान को अपनाने के दौरान यह भी ध्यान देना चाहिए कि खिलाड़ियों और सामान्य आदमी में काफी अंतर होता है। इसलिए धोनी के डायट की हू-ब-हू कॉपी करने की बजाय उससे प्रेरित होकर अपने डायटिशियन या न्यूट्रिशियन की सलाह लेकर अपने शरीर के हिसाब से डायट प्लान तैयार किया जाए। ऐसा करने से ही हर व्यक्ति अच्छा फिटनेस पा सकेगा। यहां ध्यान देने योग्य बात यह है कि धोनी अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट खिलाड़ी हैं, ऐसे में उनकी डायट का ख्याल रखने के लिए डायटिशियन के साथ डाक्टरों की टीम है, वहीं उनकी डायट उनके वर्कआउट सहित अन्य चीजों पर भी निर्भर करती है। यही वजह भी है कि वो थकते ज्यादा हैं और उसी अनुपात में पानी का सेवन भी करते हैं, यहां ध्यान देने योग्य बात यह है कि उनसे इन अच्छी आदतों को सीखकर अपने जीवन में अपनाएं, इसके लिए एक्सपर्ट की सलाह लेना जरूरी हो जाता है।