पाइका भोजन विकार (ईटिंग डिसऑर्डर)
पाइका एक दूसरा भोजन विकार (ईटिंग डिसऑर्डर) है, जिसमें मरीज को खाने की चीजों के अलावा दूसरी चीजें खाने का मन करता है। इसमें पीड़ित को आइस, धूल, मिट्टी, चॉक, साबुन, पेपर, हेयर, ऊन, लॉन्ड्री डिटर्जेंट आदि खाने का मन करता है। यह भोजन विकार बच्चों, युवाओं और टीनएजर को हो सकता है। यह डिसऑर्डर ज्यादातर बच्चों, चिल्ड्रन, प्रेग्नेंट महिलाओं और मेंटल डिसेब्लिटीज से ग्रसित लोगों में देखने को मिलता है। पाइका भोजन विकार से पीड़ित लोगों में इंफेक्शन, गट इंजरी और पोषक तत्वों की कमी जैसी परेशानियां देखने को मिलती हैं।
भोजन विकार (ईटिंग डिसऑर्डर) किसी भी उम्र के लोगों को प्रभावित कर सकता है। हालांकि महिलाओं में भोजन संबंधी मानसिक विकार पुरुषों की तुलना में ज्यादा देखने को मिलता है। हमेशा याद रखें कि आहार संबंधी विकार से पीड़ित व्यक्तियों को इलाज के दौरान बहुत सहयोग और सहायता की जरूरत होती है। इसलिए आप रोगी के प्रति सहानुभूति रखें।
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अवॉइडेंट/ रेस्ट्रिक्टिव फूड इनटेक भोजन विकार (ईटिंग डिसऑर्डर)
इस भोजन विकार (ईटिंग डिसऑर्डर) से पीड़ित व्यक्ति डेली रूटीन के लिए जरूरी पोषक तत्वों को प्राप्त नहीं कर पाता। क्योंकि उसका इंटरेस्ट खाने की तरफ नहीं रहता। इसमें डिसऑर्डर से ग्रसित व्यक्ति कुछ निश्चित कलर, टेक्सचर, स्मेल और टेस्ट को अवॉइड करता है। इस डिसऑर्डर में में चोकिंग और वेट बढ़ने के डर से भी खाना अवॉइड किया जाता है। इस भोजन विकार (ईटिंग डिसऑर्डर) के कारण वेट लॉस और बचपन में वजन न बढ़ पाना आदि परिणाम देखने को मिलते हैं। इसके साथ ही शरीर में पोषक तत्वों की कमी सीरियस हेल्थ प्रॉब्लम्स का भी कारण बन जाती है।
रूमिनेशन विकार (ईटिंग डिसऑर्डर)
भोजन विकार के प्रकार में यह हाल ही में जुड़ा है। इस स्थिति में व्यक्ति खाने को बार-बार चबाता है और फिर उसे निगल लेता है या थूक देता है। यह विकार आमतौर पर खाना खाने के बाद 30 मिनट के अंदर शुरू होता है।
यह ईटिंग डिसऑर्डर शिशु, बच्चे या वयस्क व्यक्ति को हो सकता है। 3 से 12 महीने के शिशु को यह विकार हो सकता है और यह अपने आप ठीक भी हो जाता है। बच्चों और वयस्कों में इसके इलाज के लिए थेरेपी की जरूरत पड़ती है।
यदि नवजात शिशु में यह ठीक नहीं होता है, तो रूमिनेशन विकार की वजह से वजन में कमी और गंभीर रूप से कुपोषण हो सकता है। जो कि घातक साबित हो सकता है। इस विकार से ग्रस्त वयस्क व्यक्ति कम मात्रा में खाना खाता है, जिससे उनका वजन घट सकता है।
रूमिनेशन डिसऑर्डर हर उम्र के व्यक्ति को कभी भी प्रभावित कर सकता है। ये लोग खाना खाते ही उसे बार-बार चबाते हैं और फिर उसे निगल लेते हैं या थूक देते हैं।