हायपरविस्कोसिटी सिंड्रोम के कारण क्या हैं? (Hyperviscosity Syndrome causes)
ऐसा माना जाता है कि हायपरविस्कोसिटी सिंड्रोम (Hyperviscosity Syndrome) ब्लड के सेलुलर या प्रोटीन फ्रैक्शंस के पैथोलॉजिकल परिवर्तनों (Pathological Changes) के कारण होते हैं। हायपरविस्कोसिटी सिंड्रोम (Hyperviscosity Syndrome) उस स्थिति के कारण भी हो सकता है, जो ब्लड सेल प्रोडक्शन को प्रभावित करती है, जैसे:
- ल्यूकेमिया (Leukemia): यह एक ब्लड कैंसर है, जिसके परिणामस्वरूप व्हाइट ब्लड सेल्स की संख्या बढ़ जाती है।
- पोलीसाइथिमिया वेरा ( Polycythemia Vera) : यह एक ब्लड कैंसर है, जिसके कारण रेड ब्लड सेल्स की संख्या बढ़ जाती है।
- एसेंशियल थ्रोम्बोसाइटोपेनिया (Essential Thrombocytopenia) : एक ब्लड कंडीशन है जो तब होती है जब बोन मैरो बहुत अधिक ब्लड प्लेटलेट्स बनाता है।
- मायेलोडिस्प्लास्टिक सिंड्रोम (Myelodysplastic Disorders)
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यह ब्लड डिसऑर्डर का एक ग्रुप है। जो कुछ खास ब्लड सेल्स के एब्नार्मल नंबर्स का कारण बनता है। यह (Bone Marrow) में स्वस्थ कोशिकाओं को बाहर निकालना और अक्सर गंभीर एनीमिया का कारण भी बन सकता है। वयस्कों में, हायपरविस्कोसिटी सिंड्रोम (Hyperviscosity Syndrome) आमतौर पर इन लक्षणों का कारण तब बनता है जब ब्लड विस्कोसिटी 6 और 7 के बीच होती है, जिसे सेलाइन के रिलेटिव मापा जाता है। लेकिन, यह कम भी हो सकता है। इसकी सामान्य वैल्यू आमतौर पर 1.6 और 1.9 के बीच होते हैं। इस स्थिति उपचार के दौरान, इसका लक्ष्य व्यक्ति के लक्षणों को कम करने के लिए आवश्यक स्तर तक विस्कोसिटी को कम करना होता है।
नवजात शिशुओं में इसके कारण (Cause of This Problem in Newborns)
नवजात शिशुओं में इस सिंड्रोम का निदान तब होता है। जब कुल रेड ब्लड सेल का लेवल 65 परसेंट से अधिक होता है। ऐसा कई स्थितियों के कारण हो सकता है जो गर्भ के दौरान या जन्म के समय विकसित होती हैं। इनमें यह सब शामिल है:
- गर्भनाल का देर से बंद करना (Late Clamping of the Umbilical Cord)
- माता-पिता से यह समस्या मिलना (Diseases Inherited from the Parents)
- जेनेटिक कंडीशंस जैसे डाउन सिंड्रोम (Genetic Conditions, such as Down Syndrome)
- गेस्टेशनल डायबिटीज (Gestational Diabetes)
यह उन स्थितियों के कारण भी हो सकता है जिनमें आपके बच्चे के शरीर के ऊतकों तक पर्याप्त ऑक्सीजन नहीं पहुंचती है।