डिलिवरी के बाद ब्लड क्लॉट के सामान्य लक्षण (Symptoms of blood clots after birth)
डिलीवरी के बाद खून के थक्के आना सामान्य है, लेकिन यह हर महिला में अलग होता है यानी किसी को 3-4 दिनों बाद ब्लड क्लॉट (Blood clots) आते हैं तो किसी को हफ्ते भर बाद। यह कितने दिनों तक रहता है इसके बारे में निश्चित तौर पर कुछ नहीं कहा जा सकता है, लेकिन आपके लिए यह जानना जरूरी है कि डिलिवरी के बाद ब्लड क्लॉट (Blood clots after birth) के सामान्य लक्षण क्या है ताकि किसी तरह के असामान्य लक्षण दिखने पर आप तुरंत डॉक्टर से संपर्क कर सकें।
जन्म के बाद के पहले 24 घंटे- बच्चे के जन्म के बाद (After delivery) के 24 घंटों में आमतौर पर महिलाओं को बहुत ज्यादा ब्लीडिंग (Heavy bleeding) होती है। इतनी ही हर घंटे पैड बदलने की जरूरत पड़ती है। इस दौरान थोड़े ब्लड क्लॉट भी आते है जिनका साइज बड़ा या छोटा हो सकता है।
2-6 दिन बाद- इस दौरान ब्लीडिंग (Bleeding) थोड़ी कम हो जाती है और ब्लड का कलर भी गाढ़े लाल से ब्राउन या हल्का पिंक हो जाता है। लेकिन इस दौरान भी खून के छोटे-छोटे थक्के निकल सकते हैं।
7-10 दिन बाद- आमतौर पर डिलीवरी के हफ्तेभर बाद महिलाओं को बहुत कम ब्लीडिंग होती है और इस दौरान उन्हें रोजाना पैड लगाने की भी जरूरत नहीं पड़ती, हालांकि कुछ महिलाओं को अभी भी ज्यादा ब्लीडिंग और ब्लड क्लॉट (Blood clot) हो सकता है।
11-14 दिन बाद- डिलीवरी 10 दिनों के बाद ब्लीडिंग बहुत कम हो जाती है। सामान्य रूप से तो ब्लीडिंग कम ही होनी चाहिए, लेकिन आपको यदि अधिक ब्लीडिंग (Heavy bleeding) हो रही है तो एक बार डॉक्टर से परामर्श कर लें।
3-4 हफ्ते बाद- कुछ महिलाओं में इतने दिनों बाद ब्लीडिंग बिल्कुल बंद हो जाती है और कुछ को हल्का लाल रंग का डिस्चार्ज (Red discharge) होता है। कई महिलाओं के तो दोबारा पीरियड्स (Periods) भी शुरू हो जाते हैं।
5-6 हफ्ते बाद- इतने दिनों बाद ब्लीडिंग पूरी तरह से रुक जानी चाहिए, हालांकि कभी-कभी लाल या पीले रंग का स्पॉट दिखना सामान्य है, लेकिन आपको यदि अभी भी हैवी ब्लीडिंग हो रही है तो डॉक्टर से सलाह लें।
आमतौर पर देखा गया है कि डिलीवरी के बाद (After delivery) के कुछ दिनों तक सुबह, दूध पिलाने के बाद (After breastfeeding) और एक्सरसाइज के बाद अक्सर महिलाओं को ब्लीडिंग होने लगती है। महिलाओं को डिलीवरी के बाद कम से कम 6 हफ्ते तक पैड ही इस्तेमाल करना चाहिए टैम्पून (Tampons) या कोई अन्य चीज वजायना (Vagina) में नहीं डालनी चाहिए, कुछ महिलाओं को और अधिक दिनों तक ऐसा करने की जरूरत पड़ सकती है। डिलीवरी के 4 से 6 हफ्ते बाद महिला को सामान्य चेकअप के लिए एक बार डॉक्टर से मिलना चाहिए। यदि किसी तरह की जटिलता है या सिजेरियन डिलीवरी (Cesarean delivery) हुई है तो और पहले डॉक्टर से मिलने की जरूरत है।