Quiz : अपनी पसंद-नापसंद से जानिए संक्रमण से कितना लड़ सकता है आपका शरीर
ग्रेफाइटस (Graphites)
जब सोरायसिस के मैनेजमेंट की बात आती है, तो ग्रेफाइटस एक ऐसा होम्योपैथी उपचार है जिसे अनदेखा नहीं किया जा सकता । यह त्वचा के सूखेपन, कठोर, मोटी और खुरदरी त्वचा का इलाज करने में मदद करता है। इसका उपयोग नाखूनों पर सोरायसिस के इलाज के लिए भी किया जा सकता है। कान के पीछे,कमर, गर्दन और कोहनी और घुटनों पर भी इसका इस्तेमाल किया जा सकता है। आमतौर पर, यह उपाय मोटे लोगों, कब्ज से पीड़ित लोगों या ठन्डे मौसम के प्रति संवेदनशील लोगों के लिए बेहतरीन है।
मेजेरियम (Mezereum)
इस सोरायसिस के लिए होम्योपैथी दवाई (homeopathy medicine for psoriasis in Hindi ) को स्प्रेज ऑलिव ट्री की छाल का उपयोग करके तैयार किया जाता है, जिसे मेजेरियम भी कहा जाता है। यह काफी प्रभावी ढंग से त्वचा और स्कैल्प के सोरायसिस का इलाज कर सकती है। यह वही होम्योपैथिक उपाय है जो एक्जिमा के इलाज के लिए भी उपयोग किया जाता है।
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एपिस मेलीफिका (Apis Mellifica)
इस दवा का उपयोग उन फोड़े फुंसी के लिए किया जाता है। जो गर्म और शुष्क लगते हैं, लेकिन फिर भी छूने पर संवेदनशील होते हैं। आमतौर पर, इस तरह के फोड़े फुंसी वाले रोगी ठंडे स्नान करने के बाद बेहतर महसूस करते हैं। गर्मी में उनकी स्थिति बिगड़ने का जोखिम रहता है।
कैलेंडुला (Calendula)
कई बार होम्योपैथिक डॉक्टर सोरायसिस के लिए कैलेंडुला की सलाह दे सकते हैं। यह उपचार उस सूजन को शांत कर सकता है, जो सोरायसिस का कारण बनती है। ये सोरायसिस के लिए सबसे आम होम्योपैथी उपचार है। यदि आप सही सोरायसिस होम्योपैथिक उपचार(Psoriasis homeopathic treatment) चाहते हैं, तो एक अनुभवी और प्रशिक्षित होम्योपैथ से परामर्श करें। डॉक्टर आपकी त्वचा की स्थिति के अनुसार आपको सही उपचार की सलाह देंगे।