घर में एक नन्हे मेहमान का आना एक खूबसूरत सफर की शुरुआत होती है। लोग इसे अपनी जिंदगी में एक मील के पत्थर की तरह लेते हैं। बच्चे को धीरे-धीरे बढ़ता देखने से पेरेंट्स बहुत खुश होते हैं। साथ ही बच्चे का पहला दांत निकलना माता-पिता के लिए रोमांच की बात होती है। मातृत्व में हर पल अलग होता है और आप हर कदम पर कुछ नया सीखते हैं। नए पेरेंट अपने बच्चे को परेशान करने वाली हर चीज के बारे में चिंता करते हैं। टिथिंग यानि बच्चे का पहला दांत आना बच्चे को चिड़चिड़ा बना देता है और जिसकी वजह से लोगों को बच्चे के मसूड़ों की चिंता होने लगती है। आपके पास बहुत से लोग होंगे, जो आपको सलाह देते हैं कि बच्चों की शुरुआती परवरिश कैसे होती है। ऐसे में किसी की भी बात न सुनकर सही और विश्वनीय जानकारी पर ही भरोसा करें या अपने डॉक्टर से परामर्श लें।
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6 से 12 महीने के बीच निकलता है बच्चे का पहला दांत
अगर हम बच्चे के पहले दांत निकलने की बात करते हैं, तो ये हर किसी के लिए अलग-अलग हो सकता है। किसी बच्चे का पहला दांत तीन महीने बाद ही निकलने लगता है, तो किसी को इसके लिए अपने पहले जन्मदिन तक इंतजार करना पड़ता है। लगभग तीन महीने की उम्र से बच्चों के मुंह में लार बनने लगती है और उनके टिथिंग यानि की दांत आने की संभावना दिखने लगती है। कई माता-पिता को लगता है कि उनके बच्चे का पहला दांत निकलने वाला है लेकिन बच्चे का पहला दांत आमतौर पर 6 महीने के बाद आता है। आमतौर पर बच्चे का पहला दांत हमेशा लोअर फ्रंट (incisors) होते हैं। बच्चों को औसतन तीन साल की उम्र तक सारे दांत आ जाते हैं।
बच्चे का पहला दांत निकले पर उसकी डायट में शामिल करें फ्लोराइड
फ्लोराइड एक मिनरल है, जो दांतों के इनेमल को सख्त करके दांतों को खराब होने से रोकने में मदद करता है। अच्छी बात यह है कि फ्लोराइड ज्यादातर नल के पानी में होता है। जब आपका बच्चा सॉलिड फूड पर शिफ्ट हो, तो अपने बच्चे को सिपर या स्ट्रॉ कप में पानी की कुछ बूंद दें। अपने बाल रोग विशेषज्ञ से बात करें कि क्या आपके नल के पानी में फ्लोराइड है या आपके बच्चे को फ्लोराइड का सप्लीमेंट देने की जरुरत है। आमतौर पर ज्यादातर बोतलबंद पानी में फ्लोराइड नहीं पाया जाता है। ऐसे में बच्चे का पहला दांत निकलने के बाद उसकी डायट में फ्लोराइडड को शामिल करना हो जाता है जरूरी।
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बच्चे का पहला दांत निकलने पर हो सकता है दर्द
बच्चे का पहला दांत निकलने पर उन्हें दर्द होता है और इसके कारण बच्चे परेशान रहते हैं। मसूड़ों की मालिश करने से या कभी-कभी रात को कुछ ठंडा देने से आपके बच्चे के शुरुआती दर्द को कम करने में मदद मिल सकती है। आमतौर पर टिथिंग से बच्चों को बहुत अधिक असुविधा नहीं होती है। हालांकि, कई माता-पिता पहचान सकते हैं कि उनके बच्चे का पहला दांत निकलना शुरू हो गया है। शिशुओं को उस क्षेत्र में असुविधा हो सकती है, जहां दांत आ रहा है, दांत के आस-पास मसूड़ों में सूजन हो सकती है और बच्चा सामान्य से बहुत अधिक ड्रूल कर सकता है।
माता-पिता अपने बच्चे के मसूड़ों को साफ उंगलियों से मालिश करके शुरुआती दर्द को कम करने में मदद कर सकते हैं। अगर आप बच्चे को टिथिंग बिस्किट दे रहें हैं, तो यह देखें कि आपका बच्चा वह खा रहा है या नहीं। ये बिस्किट आसानी से टूट सकते हैं और बच्चे के गले में फंस सकते हैं। इसके अलावा, ये बिस्किट बहुत पौष्टिक नहीं होते हैं और इनमें अधिक मात्रा में चीनी और नमक होता है।
बच्चे का पहला दांत निकलने के दौरान दवाईयां देने से बचें
ऐसी शुरुआती गोलियों से दूर रहें जिनमें बेंजोकेन (benzocaine) के साथ प्लांट प्वाइजन बेलाडोना (belladonna) और जैल होता है। बेलाडोना और बेंज़ोकेन(benzocaine) आपके बच्चे के दर्द को कम करने के लिए है। लेकिन, एफडीए ने संभावित दुष्प्रभावों के कारण दोनों के खिलाफ चेतावनी जारी की है।
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बच्चे के दांतों को दो बार करें साफ
एक बार आपके बच्चे के दांत आने के बाद आपको दिन में दो बार फ्लोराइड टूथपेस्ट से ब्रश कराना चाहिए। खासकर से सोने से पहले भोजन के बाद या कुछ पीने के बाद। याद रखें कि अपने बच्चे को दूध की बोतल के साथ न सुलाएं इससे उनके दांत खराब हो सकते हैं।
डॉक्टर से फ्लोराइड वॉर्निश के बारे में पूछें
नियमित रूप से आपका बाल रोग विशेषज्ञ आपके बच्चे के दांतों और मसूड़ों की जांच करेगा ताकि यह सुनिश्चित हो सके कि वे स्वस्थ हैं और आपसे इस बारे में बात करते हैं कि उन्हें कैसे रखा जाए। यूनाइटेड स्टेट्स प्रिवेंटिव सर्विसेज टास्क फोर्स भी सलाह देते हैं कि एक बार दांत आने पर बच्चे फ्लोराइड वॉर्निश ले सकते हैं। अगर आपके बच्चे के पास अभी तक डेंटिस्ट नहीं है तो अपने बाल रोग विशेषज्ञ से पूछें कि क्या वह अपने बच्चे के दांतों में फ्लोराइड वॉर्निश लगा सकता है।
बच्चे का पहला दांत निकलने पर डेंटिस्ट को दिखाएं
बच्चे का पहला दांत आने के बाद अपने बच्चे का डेंटिस्ट चेकअप कराएं। एक बच्चों का डॉक्टर या डेंटिस्ट यह सुनिश्चित करेगा कि सभी दांत सामान्य रूप से विकसित हो रहे हैं और कोई दांत की परेशानी, तो नहीं है। वह आपको दांतों की हाइजीन के बारे में भी सलाह देगा।
बच्चे का पहला दांत निकलने पर क्या न करें
बच्चे का पहला दांत निकलने पर बच्चे को परेशानी हो सकती है और कोई भी मां-बाप बच्चों को तकनीफ में नहीं देख सकते हैं। पेरेंट्स बच्चों को इन परेशानियों से निकालने के लिए सारी कोशिशें करते हैं। ऐसे में कई माता-पिता बच्चे का पहला दांत निकलने पर कई घरेलू नुस्खों का भी इस्तेमाल करते हैं और कई बार ये बच्चों को आराम देने के बजाए उनके लिए हानिकारक भी साबित हो सकते हैं। कई मामलों में देखा जाता है कि पेरेंट्स बच्चों के मसूड़ों पर लौंग का तेल यह सोच कर लगा देते हैं कि इससे उन्हें आराम मिलेगा। लेकिन इससे बच्चों को सूजे हुए मसूड़ों में जलन होने लगती है। इसके अलावा कई पेरेंट्स बच्चों को गले में टीथर्स पहना देते हैं। ऐसा करने से बच्चे को उलझन हो सकती है या बच्चा इससे अपने ही गले को नुकसान पहुंचा सकता है।
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