उम्र का बढ़ना जीवन का सबसे बड़ा सच है। उम्र के बढ़ने से कुछ लोग खुश होते हैं कि वो उम्र के बढ़ने के साथ अधिक समझदार व परिपक्व हो रहे हैं और मुश्किलों से न घबराना उन्होंने सीख लिया है। हालांकि, कुछ लोग इससे परेशान भी होते हैं कि उनकी उम्र का एक साल कम हो गया। उम्र के बढ़ने पर सबसे अधिक जो चीज परेशान करती है, वो है स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं का बढ़ना। उम्र जैसे-जैसे बढ़ती है, वैसे ही हमारा शरीर कमजोर होने लगता है, इसके साथ ही हमारी इम्युनिटी पर भी इसका प्रभाव पड़ता है। लेकिन, लिंग और उम्र(Penis and age) का भी गहरा संबंध है।
शारीरिक और मानसिक प्रभावों के साथ ही उम्र के बढ़ने से पुरुषों के लिंग पर भी असर पड़ता है। ऐसा आमतौर पर चालीस की उम्र के बाद होता है। ऐसा माना जाता है कि इस दौरान लिंग का सिकुड़ना(Penis Turtling) या इसके आकार में परिवर्तन जैसी बहुत बड़ी समस्याएं हो सकती है। इन परेशानियों का प्रभाव पुरुषों के सेक्शुअल जीवन के साथ ही उनके आत्म सम्मान पर भी पड़ता है। अधिकतर पुरुषों उन्हें ऐसा लगता है कि केवल वो ही हैं जो इस समस्या से जूझ रहे हैं लेकिन, लिंग का सिकुड़ना उम्र के बढ़ने के बाद की एक आम समस्या है।
लिंग और उम्र(Penis and age) के बीच के संबंध के बारे में जानना बहुत आवश्यक है। पुरुषों के लिए यह बात दिमाग में बिठाना आवश्यक है कि वो इसमें अकेले नहीं हैं। आइए जानें कि लिंग और उम्र(Penis and age) का क्या संबंध है। लिंग का लाइफसाइकिल(lifecycle of penis) और उसे स्वस्थ रखने के बारे में भी पढ़ना न भूलें।
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उम्र के बढ़ने से लिंग में क्या परिवर्तन आते हैं
लिंग का रंग
उम्र बढ़ने के साथ ही धमनियों में ब्लड सर्कुलेशन कम होना (एथेरोस्क्लेरोसिस) एक आम समस्या है। इस परेशानी से रक्त के प्रवाह(blood circulation) में परेशानी होती है और यह परेशानी हृदय, मस्तिष्क व लिंग को भी प्रभावित करती है। लिंग में कम रक्त के कारण लिंग रंग में हल्का दिखाई देता है। हालांकि, विशेषज्ञों के अनुसार अगर आप पूरी तरह से स्वस्थ हैं तो लिंग का हल्का होना कोई चिंता की बात नहीं है। लेकिन आपको अपनी नियमित जांच करानी चाहिए। इसके अलावा, जिस तरह शरीर के हर अंग की त्वचा पर बढ़ती उम्र का असर दिखाई देता है, उसी तरह लिंग की त्वचा भी इसका प्रभाव देखने को मिलता है। यानी, एथेरोस्क्लेरोसिस के कारण लिंग अधिक धब्बेदार दिखाई दे सकता है।
जैसा की पहले ही बताया गया है कि टेस्टोस्टेरोन और ब्लड के प्रवाह के कम होने के कारण लिंग सिकुड़ जाता है। उम्र के बढ़ने और लिंग के लाइफसाइकिल (lifecycle of penis) के बारे में ऐसा कहा जाता है कि 60s और 70s की उम्र में लिंग का आकार कुछ सेंटीमीटर कम हो सकता है। लेकिन, कुछ पुरुषों का लिंग इस उम्र में आधा रह जाता है। अगर कोई पुरुष मोटापे का शिकार है या उसका पेट बाहर निकला हुआ है तो उसका लिंग देखने में और भी छोटा लग सकता है। क्योंकि लिंग शरीर के अंदर से शुरू होता है और अगर आपका पेट बाहर निकला हुआ है, तो आपका पेट आपके लिंग के बेस को कवर कर लेगा। इससे आपका लिंग और भी छोटा प्रतीत होगा।
संवेदनशीलता
टेस्टोस्टेरोन(Testosterone) नर्वस टिश्यू को कार्य करने में मदद करता है। जब शरीर में टेस्टोस्टेरोन(Testosterone) का लेवल कम होना शुरू होता है तो इसके कारण अंगों में संवेदनशीलता भी कम हो सकती है। ऐसा ही लिंग में भी होता है। टेस्टोस्टेरोन(Testosterone) का लेवल कम होने के कारण लिंग में संवेदनशीलता कम हो जाती है। जिसके कारण ऑर्गेज्म तक पहुंचने में समस्या होती है। यही नहीं, इरेक्शन में भी परेशानी होती है। विशेषज्ञ ऐसा मानते हैं कि पुरुष अपने लिंग के स्वास्थ्य को सही बनाए रखने के लिए इरेक्शन आवश्यक है। ऑर्गेज्म जरूरी नहीं है, लेकिन रोजाना इरेक्शन होने से धमनियां सही आकार में रहती हैं और लिंग तक खून का सही से प्रवाह होता है।
बाल
शरीर के अन्य अंगों की तरह लिंग का लाइफसाइकिल (lifecycle of penis) बदलता रहता है। उम्र के बढ़ने का असर लिंग या प्राइवेट पार्ट के बालों पर भी पड़ता है। शरीर के अन्य बालों की तरह उम्र बढ़ने पर यहां के बाल भी पतले और सफेद हो जाते हैं।
अंडकोष के अंदर के छोटे अंग ज्यादातर शुक्राणु बनाने के लिए मौजूद होते हैं। जैसे ही पुरुष के शरीर में उम्र के बढ़ने से टेस्टोस्टेरोन(Testosterone) का स्तर गिरता है। वैसे ही शुक्राणु का उत्पादन धीमा हो जाता है और लिंग सिकुड़ जाता है। ऐसे ही अगर आप हॉर्मोन रिप्लेसमेंट थेरेपी लेते हैं, तो पिट्यूटरी ग्रंथि टेस्टोस्टेरोन बनाने के लिए दिमाग को संकेत भेजना बंद कर देगी और लिंग अधिक सिकुड़ता है।
पेशाब करने में समस्या
हालांकि, पेशाब करने में समस्या 40 की उम्र के बाद 20 प्रतिशत पुरुषों को होती है। जबकि 70 और 80 के बाद यह समस्या 80 से 90 प्रतिशत लोगों में देखी गयी है। इस समस्या से राहत पाने के लिए डॉक्टर कुछ सुझाव देते हैं। जैसे:
अधिक शराब या अन्य मादक पदार्थों का सेवन करने से भी यह परेशानी बढ़ सकती है। इसलिए, शराब और अन्य मादक पदार्थों का सेवन कम करें। लिंग के आकार के बारे में मिथक(penis size myths) पर बिलकुल विश्वास नहीं करना चाहिए।
इरेक्टाइल डिसफंक्शन(Erectile dysfunction) यानी नपुंसकता का अर्थ है, सेक्शुअल इंटरकोर्स के समय इरेक्शन का न होना। इसकी वजह से पेनिट्रेशन में दिक्क्त आती है जिसे इरेक्टाइल डिस्फंक्शन कहा जाता है। शोध के अनुसार इरेक्टाइल डिसफंक्शन(Erectile dysfunction) जैसी बीमारी 40 के उम्र के 5 प्रतिशत पुरुषों और 70 साल के 15 प्रतिशत पुरुषों को होती है। यानी उम्र के बढ़ने पर यह दिक्क्त होना भी सामान्य है। इसके कई कारण हो सकते हैं। जैसे:
लिंग के विकास की उम्र सीमा (age limit for penis growth) के बारे में जानना भी जरूरी है। लिंग के सिकुड़ने की परेशानी भी उम्र के बढ़ने के साथ-साथ सामान्य होती जाती है। हालांकि, लिंग के सिकुड़ने(Penis Turtling) की समस्या को कम करने के लिए कुछ आसान उपाय किये जा सकते हैं। जैसे कुछ रिपोर्टों के अनुसार वजन कम करने से लिंग की लंबाई 2cm तक बढ़ सकती है।
अधिकतर पुरुष प्रोस्टेट और टेस्टिकुलर कैंसर के बारे में जानते होंगे। इसके साथ ही उम्र के बढ़ने पर कैंसर का भी ध्यान रखा जाता है। उम्र के बढ़ने के साथ ही लिंग पर स्किन कैंसर का खतरा भी बढ़ जाता है। जिसे लिंग संबंधी कैंसर (Penile Cancer) कहा जाता है।
अपने लिंग को स्वस्थ रखने के लिए क्या करें
अपने लिंग को स्वस्थ बनाये रखने के लिए आप कई बातों का ध्यान रख सकते हैं। नीचे दिए गए कुछ आसान टिप्स लिंग को स्वस्थ रखने में मदद कर सकते हैं, जैसे:
हस्तमैथुन
हस्तमैथुन करने से लिंग में रक्त के प्रवाह(blood circulation) को बढ़ावा देने में मदद मिलती है और इसलिए लिंग के सिकुड़ने(Penis Turtling) का खतरा कम हो जाता है। इसके साथ ही संभोग करने से भी लिंग को स्वस्थ रहने में मदद मिलती है।
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स्वस्थ आदतें अपनाएं
लिंग में ब्लड सर्कुलेशन को सही बनाए रखने के लिए भी नियमित रूप से व्यायाम करें।
पर्याप्त पानी पीएं शरीर में पानी की कमी से शरीर में खून के प्रवाह(Blood circulation) में समस्या हो सकती है जिसका असर लिंग पर पड़ता है। स्वस्थ, संतुलित आहार लेना भी हमारे पूरे स्वास्थ्य के लिए जरूरी है।
ब्रीफ्स की जगह बॉक्सर शॉर्ट्स पहने। इससे अंडकोष( testicles )को शरीर से थोड़ा ठंडा रखने से सिकुड़न को रोकने में मदद मिलती है।
अपने स्वास्थ्य को लेकर सही सलाह लें और लिंग के आकार के बारे में मिथक(penis size myths) के बारे में लोगों को भी जागरूक करें
दवाइयां
इरेक्टाइल डिसफंक्शन(Erectile dysfunction) की दवाईयां जैसे सिल्डेनाफिल (Sildenafil) लिंग के ब्लड सर्कुलेशन को बढ़ा सकती हैं। जिससे लिंग में खून का प्रवाह सही से होगा।
अपने पार्टनर से बात करें
अगर आप अपने उम्र और लिंग(Penis and age) में बदलावों को लेकर चिंतित हैं, तो अपने पार्टनर से भी बात करें। ऐसे मामलों में अधिकतर पार्टनर्स को अच्छा लगता है कि उनका साथी इस बारे में उन्हें बता रहा है। वो आपकी बात को समझेंगे। इससे वो यह भी समझ पाएंगे कि आपकी परफॉरमेंस पहले की तरह क्यों नहीं है। आप दोनों इसका हल आसानी से निकाल पाएंगे। साथ ही, आपको अपने साथी का साथ मिलने से अच्छा महसूस होगा।
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आप अपने डॉक्टर से अवश्य पूछे कि आपको स्वस्थ जीवन और लिंग के लिए अपने आहार और फिटनेस प्लान में क्या बदलाव लाने चाहिए। अगर आप हेल्दी लाइफस्टाइल नहीं अपनाएंगे, तो आपको उम्र के बढ़ने के साथ ही दिल संबंधी रोग या डायबिटीज होने की संभावना अधिक होगी। यह रोग इरेक्शन की समस्या का मुख्य कारण हैं। इसके साथ ही वजन बढ़ने से भी आपको लिंग के आकार संबंधी समस्याएं हो सकती है।
अगर आप अपने लिंग संबंधी किसी भी रोग या परेशानी से पीड़ित हैं या इसे लेकर चिंतित हैं तो डॉक्टर की सलाह अवश्य लें। हो सकता है कि अपने प्राइवेट पार्ट के बारे में डॉक्टर से बात करना आपको अजीब लगे। लेकिन बाद में किसी बड़ी समस्या से गुजरना और भी परेशानी भरा हो सकता है। समय पर डॉक्टर से बात करना बढ़ती उम्र और लिंग(Penis and age) व सेक्शुअली स्वास्थ्य के साथ ही पूरी सेहत के लिए भी बेहद जरूरी है।
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