सेक्शुअली ट्रांसमिटेड इंफेक्शंस एक व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति तक सेक्शुअल कांटेक्ट के माध्यम से पास होते हैं। यह संक्रमण होना आम बात हैं और अगर शुरुआती चरणों में इसका निदान हो जाए तो आसानी से इलाज हो सकता है। इन्हीं सेक्शुअली ट्रांसमिटेड इंफेक्शंस में से एक है ट्राइकोमोनिएसिस (Trichomoniasis)। यह बीमारी महिलाओं और पुरुषों दोनों में होना सामान्य है। तो आज हम बात करने वाले हैं ट्राइकोमोनिएसिस, ट्राइकोमोनिएसिस के टेस्ट और ट्राइकोमोनिएसिस की नेगेटिव टेस्ट रिपोर्ट के बारे में। ट्राइकोमोनिएसिस की नेगेटिव टेस्ट रिपोर्ट के बारे में जानना इसलिए जरूरी है क्योंकि कई बार व्यक्ति को यह समस्या होती है लेकिन इसके बाद भी ट्राइकोमोनिएसिस की नेगेटिव टेस्ट रिपोर्ट (Negative Test Report of Trichomoniasis) आती है। ऐसा क्यों होता है इसके बारे में जानना महत्वपूर्ण है। आइए, जानते हैं इस बारे में विस्तार से:
ट्राइकोमोनिएसिस क्या है? (What is Trichomoniasis)
ट्राइकोमोनिएसिस के टेस्ट या ट्राइकोमोनिएसिस की नेगेटिव टेस्ट रिपोर्ट (Negative Test Report of Trichomoniasis) के बारे में जानने से पहले इस समस्या के बारे में थोड़ी जानकारी ले लेते हैं। ट्राइकोमोनिएसिस एक सेक्शुअली ट्रांसमिटेड इंफेक्शन (Sexually Transmitted Infection) है, जो परजीवी (Parasite) के कारण होता है। इसके लक्षण इस प्रकार हैं:
- महिलाओं में अगर यह समस्या हो, तो वो दुर्गन्ध भरा वजाइनल डिस्चार्ज (Foul-Smelling Vaginal Discharge), गुप्तांगों में खुजली (Genital Itching) और मूत्र त्याग के समय दर्द (Painful Urination) आदि लक्षण महसूस कर सकती हैं।
- जिन पुरुषों को यह समस्या होती है, उन्हें आमतौर पर कोई लक्षण नजर नहीं आते हैं। लेकिन, कुछ पुरुष पीनस में परेशानी (Irritation inside the Penis), मूत्र त्याग या इजैक्युलेशन के बाद जलन होना (Burning feeling while Urination or after ejaculation), पीनस से डिस्चार्ज (Discharge from the Penis) जैसी समस्याओं का अनुभव कर सकते हैं।
- अगर किसी गर्भवती महिला को यह समस्या हो तो उन्हें प्रीमैच्योर डिलीवरी का जोखिम रहता है। गर्भावस्था में यह समस्या घातक हो सकती है। अब जान लेते हैं इसके कारणों के बारे में।
ट्राइकोमोनिएसिस के कारण कौन से हैं? (Causes of Trichomoniasis)
ट्राइकोमोनिएसिस एक-कोशिका वाले प्रोटोजोयन (One-Celled Protozoan) के कारण होता है। जो एक प्रकार का छोटा परजीवी है और संभोग के दौरान एक व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति तक ट्रांसमिटेड होता है। इस बीमारी के एक्सपोजर और इंफेक्शन के बीच के इन्क्यूबेशन पीरियड (Incubation Period) के बारे में सही जानकारी नहीं है, लेकिन इसे चार से 28 दिनों तक माना जाता है। इससे जुड़े रिस्क फैक्ट्स इस प्रकार हैं :
- मल्टीप्ल सेक्सशुअल पार्टनर्स (Multiple Sexual Partners)
- अन्य सेक्शुअल ट्रांसमिटेड इंफेक्शंस की हिस्ट्री होना (History of Other Sexually Transmitted Infections)
- पहले कभी ट्राइकोमोनिएसिस होना (Previous Episode of Trichomoniasis)
- कंडोम के बिना संभोग (Sex without a Condom)
ट्राइकोमोनिएसिस के निदान के लिए डॉक्टर कुछ टेस्ट्स कराने के लिए कह सकते हैं, ताकि सही उपचार हो सके। तो अब जानते हैं इस टेस्ट के बारे में और ट्राइकोमोनिएसिस की नेगेटिव टेस्ट रिपोर्ट (Negative Test Report of Trichomoniasis) के बारे में भी जानिए।
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ट्राइकोमोनिएसिस के लिए टेस्ट क्यों है जरूरी?
ट्राइकोमोनिएसिस महिलाओं में बेहद सामान्य है, लेकिन पुरुषों को भी यह समस्या हो सकती है। यह इंफेक्शन अधिकतर लोअर जेनिटल ट्रेक्ट (Lower Genital Tract ) को प्रभावित करते हैं। इस इंफेक्शन के बारे में दिलचस्प बात यह है कि प्रभावित लोगों को यह पता भी नहीं होता कि उन्हें यह समस्या है। ऐसे में केवल टेस्ट से ही इस बात का निदान हो पाता है कि उनके शरीर में यह परजीवी है। यह इंफेक्शन बहुत ही कम मामलों में गंभीर होता है। लेकिन यह संक्रमण एक व्यक्ति से दूसरे में बहुत जल्दी फैल सकता है। ऐसे में अगर इसका निदान सही समय पर हो जाए, तो दवा की मदद से इसका उपचार भी आसान हो जाता है।
यह टेस्ट इस इस चीज को कंफर्म करने के लिए किया जाता है कि प्रभावी व्यक्ति को ट्राइकोमोनिएसिस परजीवी से इंफेक्शन है या नहीं। यह संक्रमण प्रभावित व्यक्ति को कई सेक्शुअल ट्रांसमिटेड डिजीज (Sexually Transmitted Disease) के जोखिम में ड़ाल सकता है। इसलिए इस टेस्ट को अन्य सेक्शुअल ट्रांसमिटेड डिजीज (Sexually Transmitted Disease) की टेस्टिंग के साथ किया जाता है।
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ट्राइकोमोनिएसिस टेस्ट कैसे किया जाता है? (Trichomoniasis test)
ट्राइकोमोनिएसिस से पीड़ित बहुत से लोगों को इसके कोई लक्षण नजर नहीं आते हैं। लेकिन जब लक्षण नजर आते हैं तो वो संक्रमण से पांच से 28 दिनों के बीच नजर आते हैं। अगर आप इसका कोई भी लक्षण अनुभव करते हैं तो तुरंत टेस्ट कराना जरूरी है।
अगर आप महिला हैं तो ट्राइकोमोनिएसिस टेस्ट के लिए डॉक्टर आपको एक ब्रश देंगे। ताकि आप वजाइना से सेल्स का नमूना इकट्ठा कर सकें। इस नमूने को लैब में टेस्ट किया जाएगा और जाना जाएगा कि कहीं इसमें परजीवी तो नहीं हैं। अगर आप पुरुष हैं तो डॉक्टर आपको मूत्रमार्ग से सैंपल लेने के लिए कह सकते हैं। महिला और पुरुष दोनों को यूरिन टेस्ट के लिए भी कहा जाता है। यूरिन टेस्ट के लिए डॉक्टर को पीड़ित व्यक्ति के यूरिन का साफ नमूना चाहिए होता है। यह टेस्ट करने के लिए आपको इन स्टेप्स को फॉलो करना होगा।
- अपने गुप्तांगों को अच्छे से साफ कर लें।
- अब टॉयलेट में मूत्र त्याग शुरू करें और अपनी यूरिन स्ट्रीम के नीचे कंटेनर को रखें।
- इस कंटेनर में थोड़े से यूरिन को इकठ्ठा करें।
- इसके बाद इस कंटेनर को अच्छे से बंद कर के डॉक्टर की सलाह के अनुसार लैब में जमा करा दें।
ट्राइकोमोनिएसिस टेस्ट की रिपोर्ट आने में कुछ समय लगता है। लेकिन, यह रिपोर्ट कई बार संक्रमित व्यक्ति के लिए परेशानी का कारण बन सकती है। दरअसल, कई बार यह संक्रमण होने के बाद भी उनकी ट्राइकोमोनिएसिस की नेगेटिव टेस्ट रिपोर्ट आती है। ऐसा क्यों होता है, करते हैं यह बात जानने की कोशिश।
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क्या ट्राइकोमोनिएसिस होने के बाद भी किसी व्यक्ति की ट्राइकोमोनिएसिस की नेगेटिव टेस्ट रिपोर्ट आ सकती है?
जैसा आपको पता है कि ट्राइकोमोनिएसिस के लक्षण सामने आने में किसी भी व्यक्ति को संक्रमण के बाद कम से कम पांच दिन का समय लगता है। लेकिन, अगर इन लक्षणों को नोटिस नहीं किया जाता और यह समय इन्क्यूबेशन पीरियड से 28 दिनों से अधिक हो जाता है। ऐसे में प्रभावित व्यक्ति एडवांस स्टेज तक पहुंच सकता है। इस पीरियड में परजीवी तेजी से फैलते हैं। यही कारण है कि यह समस्या होने के बाद भी कई लोगों की ट्राइकोमोनिएसिस की नेगेटिव टेस्ट रिपोर्ट (Negative Test Report of Trichomoniasis) आती है। हालांकि, ऐसा जरूरी नहीं है कि अगर आपकी ट्राइकोमोनिएसिस की नेगेटिव टेस्ट रिपोर्ट (Negative Test Report of Trichomoniasis) आई है, तो यह गलत है। लेकिन, कई मामलों में ऐसा हो सकता है। ऐसे मामलों में डॉक्टर फिर से टेस्ट करने को कह सकते हैं।
ट्राइकोमोनिएसिस टेस्ट के परिणामों का क्या अर्थ है? (Results of Trichomoniasis Test)
ट्राइकोमोनिएसिस टेस्ट के परिणामों को आने में कुछ समय लगता है। उसके बाद ही डॉक्टर यह जानने में सक्षम होते हैं कि व्यक्ति को यह समस्या है या नहीं। जानिए, क्या कहता है इस टेस्ट का परिणाम
- अगर यह परिणाम पॉजिटिव है तो इसका अर्थ है कि आपको ट्राइकोमोनिएसिस इंफेक्शन है। ऐसी स्थिति में डॉक्टर आपको कुछ दवाइयां दे सकते हैं। अगर आपका यह परिणाम पॉजिटिव है तो आपके पार्टनर का टेस्ट कराना और उपचार भी जरूरी है।
- अगर आपकी ट्राइकोमोनिएसिस की नेगेटिव टेस्ट रिपोर्ट (Negative Test Report of Trichomoniasis) आती है। तो डॉक्टर आपको अन्य ट्राइकोमोनिएसिस टेस्ट या अन्य सेक्शुअल ट्रांसमिटेड डिजीज टेस्टिंग (Sexually Transmitted Disease Testing) के लिए कह सकते हैं, ताकि समस्या का निदान हो सके।
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नेगटिव रिपोर्ट की स्थिति में क्या करें?
सही रिपोर्ट प्राप्त करने का एक बेहतर तरीका है इन्क्यूबेशन पीरियड (Incubation Period) के पूरा होने के बाद टेस्ट कराना। जो एक्सपोजर पीरियड के बाद 28 दिनों का है इस पीरियड में महिलाएं खुजली और डिस्चार्ज कैसी समस्याएं अनुभव कर सकती हैं। सेक्शुअल ट्रांसमिटेड डिजीज (Sexually Transmitted Disease) और सेक्शुअल ट्रांसमिटेड इंफेक्शन (Sexually Transmitted Infection) से बचने का सबसे बेहतर तरीका है सेफ सेक्स। ट्राइकोमोनिएसिस से पीड़ित व्यक्ति को ह्युमन इम्युनोडेफिशिएंसी वायरस और एड्स (Human Immunodeficiency Virus and AIDS) होने की संभावना भी अधिक होती है।
इस संक्रमण का इलाज मेट्रोनिडाजोल एंटीबायोटिक (Metronidazole Antibiotic) से संभव है। इसका उपचार भी हर व्यक्ति के लिए अलग हो सकता है। कई लोग जल्दी ठीक हो जाते हैं तो कुछ को हफ्तों लग सकते हैं। अगर आपको यह समस्या है तो डॉक्टर की सलाह के अनुसार दवाइयां लेना न भूलें। बिना उपचार के यह इंफेक्शन कई महीनों या साल तक भी रह सकता है। हालांकि इसकी दवाइयों से कुछ साइड इफेक्ट जैसे पेट में दर्द, जी मचलना या उल्टी भी हो सकते हैं। अगर आपको भी यह साइड इफेक्ट होते हैं तो डॉक्टर से सलाह लें।
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ट्राइकोमोनिएसिस से कैसे बचाव है संभव? (Prevention of Trichomoniasis)
ट्राइकोमोनिएसिस और अन्य सेक्शुअल ट्रांसमिटेड डिजीज (Sexually Transmitted Disease) से बचने का सबसे अच्छा तरीका है संभोग से बचना। लेकिन, अगर आप सेक्शुअली एक्टिव हैं, तो आप इस संक्रमण के जोखिम को इस तरह से कम कर सकते हैं:
- एक ही पार्टनर का होना (Having one Sexual Partner)
- आपके पार्टनर को भी कोई सेक्शुअली ट्रांसमिटेड डिजीज न हो (Your Partner should not have any Sexually Transmitted Disease)
- सेक्स के दौरान कंडोम का इस्तेमाल (Use Condom During Sex)
- समय-समय पर सेक्शुअल ट्रांसमिटेड डिजीज की जांच कराते रहें (Regular Sexual Transmitted Disease Check-up is Important)
आपके उपचार के साथ ही आपके पार्टनर का टेस्ट और इलाज भी जरूरी है। अगर आप इस समस्या का उपचार करा रहे हैं, तो सेक्शुअल गतिविधियों से कुछ दिन दूर रहें। अगर आपके लक्षण आपको फिर से नजर आ रहे हों तो दोबारा टेस्ट कराएं।
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यह तो थी ट्राइकोमोनिएसिस और ट्राइकोमोनिएसिस की नेगेटिव टेस्ट रिपोर्ट (Negative Test Report of Trichomoniasis) के बारे में पूरी जानकारी। सेंटर्स फॉर डिजीज कंट्रोल एंड प्रिवेंशन (Centers for Disease Control and Prevention) के अनुसार ट्रीटमेंट से इस संक्रमण का उपचार हो जाता है। लेकिन, अगर आप फिर से इस समस्या के कारण परजीवी के संपर्क में आते हो तो आपको फिर से यह रोग हो सकता है। इन्क्यूबेशन पीरियड के बाद ट्राइकोमोनिएसिस डायग्नोसिस टेस्ट (Trichomoniasis Diagnosis Test) कराना सही रिजल्ट के लिए बेहतर है। अगर आप सेक्शुअल ट्रांसमिटेड डिजीज (Sexually Transmitted Disease) से बचना चाहते हैं तो आप अपने लाइफस्टाइल को भी हेल्दी रखें। सही खाएं, व्यायाम करें, तनाव से बचें और पर्याप्त नींद लें। यह सब हमारे पूरे स्वास्थ्य के लिए जरूरी है।
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