न्यूरोब्लास्टोमा (Neuroblastoma) वो कैंसर है जिसका उपचार संभव है। लेकिन, इसके उपचार में यह चीज जानना सबसे जरूरी फैक्टर है कि यह कितना फैला है। जितनी जल्दी इस कैंसर का इलाज हो, उतने ही ज्यादा संभावना होती है रोगी के ठीक होने की। न्यूरोब्लास्टोमा का उपचार रोगी कि उम्र और यह कैंसर कितना फैला है इस पर निर्भर करता है। इसके उपचार के तरीके इस प्रकार हैं:
सर्जरी (Surgery)
अगर ट्यूमर शरीर के अन्य भागों में न फैला हो, तो सर्जरी का प्रयोग करके ट्यूमर को रिमूव किया जा सकता है। अगर यह ट्यूमर स्पाइनल कॉर्ड को प्रभावित कर रहा हो तो सर्जरी की जगह कीमोथेरेपी का प्रयोग किया जा सकता है। जब न्यूरोब्लास्टोमा (Neuroblastoma) का निदान होने तक यह कैंसर फैल चुका हो, तो सर्जरी के बजाय कीमोथेरेपी और अन्य दवाओं का भी उपयोग किया जा सकता है।
कीमोथेरेपी (Chemotherapy)
कीमोथेरेपी वो पावरफुल दवाइयां हैं, जिनका प्रयोग कैंसर सेल्स को नष्ट करने या उन्हें ग्रो होने से रोकने और अधिक कैंसर सेल्स को बनने से रोकना है। इन दवाइयों को ब्लड स्ट्रीम में इंजेक्ट किया जाता है, लेकिन कई बार इन्हें ओरल भी दिया जा सकता है। कॉम्बिनेशन थेरेपी (Combination Therapy) में एक समय में एक से अधिक प्रकार के दवाइयों का उपयोग किया जाता है है। रेडिएशन थेरेपी का प्रयोग भी कीमोथेरेपी के साथ कम्बाइन कर के किया जा सकता है।
और पढ़ें : मोह्स सर्जरी: स्किन कैंसर को रिमूव करने के लिए कितनी असरदार है यह सर्जरी?
रेडिएशन थेरेपी (Radiation Therapy)
रेडिएशन थेरेपी में हाय एनर्जी एक्स रे (High-Energy X-Rays) या अन्य तरह की रेडिएशन का प्रयोग किया जाता है। ताकि कैंसर सेल्स को नष्ट किया जा सके या उन्हें ग्रो होने से रोका जा सके।
एक्सटर्नल रेडिएशन में एक्स-रे डोज देने के लिए शरीर के बाहर मशीनों का उपयोग किया जाता है। इंटरनल रेडिएशन में नीडल्स, सीड्स, वायर्स आदि का प्रयोग किया जाता है, ताकि रेडिएशन को कैंसर में या कैंसर के नजदीक डिलीवर किया जा सके। हाय रिस्क पेशेंट्स (High-Risk Patients )को इससे अधिक इंटेंस ट्रीटमेंट दिया जा सकता है। न्यूरोब्लास्टोमा (Neuroblastoma) के रोगी उस समय बेहद रिस्क में होते हैं, जब ट्यूमर को सर्जिकल रिमूव न किया जा सके और यह फैल जाए। अधिक जोखिम वाले रोगियों में कीमोथेरेपी और इम्यून थेरेपी को स्टेम सेल्स ट्रांसप्लांट के साथ मिला कर हाय डोज में इसका प्रयोग किया जाता है।
स्टेम सेल ट्रांसप्लांट (Stem Cell Transplant)
इस तरीके में बोन मैरो को हेल्दी सेल्स के साथ रिप्लेस कर दिया जाता है। यह रिप्लेसमेंट सेल्स रोगी के शरीर या डोनर कहीं से भी लिए जा सकते हैं। इस प्रक्रिया को बोन मैरो ट्रांसप्लांट भी कहा जाता है।
और पढ़ें : वयस्कों और बच्चों में किस तरह से अलग होती हैं लिम्फोमा की स्टेजेस, जानिए!
यह तो थी न्यूरोब्लास्टोमा (Neuroblastoma) के बारे में पूरी जानकारी। इस रोग से बचाव संभव नहीं है लेकिन आपको या आपके पार्टनर को यह कैंसर है तो आपके बच्चों को भी यह समस्या हो सकती है। ऐसे में डॉक्टर की सलाह लें और जेनेटिक टेस्टिंग कराएं। अगर आपको अपने बच्चे में इस कैंसर के कोई भी लक्षण नजर आते हैं तो भी तुरंत मेडिकल हेल्प लेना जरूरी है क्योंकि जल्दी निदान और उपचार से इसके प्रभाव को कम किया जा सकता है। इससे बच्चे को जल्दी रिकवर होने भी मदद मिलती है।