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मेगैलोब्लास्टिक एनीमिया (Megaloblastic Anemia)
एनीमिया के प्रकार में से एक मेगैलोब्लास्टिक एनीमिया है। मेगैलोब्लास्टिक एनीमिया में बोन मैरो असामान्य से रेड ब्लड सेल्स का निर्माण करने लगता है। रेड ब्लड सेल्स का आकार या तो सामान्य से बड़ा होता है या सामान्य से छोटा होता है। लेकिन ये अबनॉर्मल ब्लड सेल्स ऑक्सीजन को कैरी नहीं कर पाती हैं, क्योंकि ये सेल्स स्वस्थ्य और मेच्योर नहीं होती हैं।
मेगैलोब्लास्टिक एनीमिया होने का प्रमुख कारण विटामिन बी12 या विटामिन बी9 की कमी होना है। हमारे शरीर को इन दोनों विटामिन की बहुत अधिक जरूरत होती है। कुछ लोगों में मेगैलोब्लास्टिक एनीमिया के लक्षण कई सालों तक नजर ही नहीं आते हैं। मेगैलोब्लास्टिक एनीमिया को इलाज के लिए डॉक्टर विटामिन बी12 और विटामिन बी9 के सप्लीमेंट्स देते हैं, साथ ही डायट में भी विटामिन की मात्रा को जोड़ने के लिए कहते हैं।
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एप्लास्टिक एनीमिया (Aplastic Anemia)
एप्लास्टिक एनीमिया में बोन मैरो डैमेज हो जाती है और रेड ब्लड सेल्स, व्हाइट ब्लड सेल्स और प्लेटलेट्स बनाना बंद कर देती है। जिससे एप्लास्टिक एनीमिया हो जाता है। एप्लास्टिक एनीमिया आनुवांशिक है। जो पेरेंट्स से बच्चों में जाता है। एप्लास्टिक एनीमिया होने का जोखिम रेडिएशन या कीमोथेरिपी कराने वाले लोगों में ज्यादा होता है। इसके अलावा किसी बीमारी के कारण बोन मैरो डैमेज होने के कारण भी एप्लास्टिक एनीमिया हो सकता है।
एप्लास्टिक एनीमिया का इलाज लक्षणों और कारणों के आधार पर किया जाता है, जिसके लिए जरूरत पड़ने पर ब्लड ट्रांसफ्यूजन (Blood transfusion), दवाएं या मैरो स्टेम सेल ट्रांसप्लांट करना पड़ता है।
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विटामिन डेफिसिएंसी एनीमिया (Vitamin Deficiency Anemia)
इस एनीमिया के प्रकार में रेड ब्लड सेल्स के निर्माण के लिए आयरन के साथ-साथ विटामिन बी12, विटामिन सी और फोलेट की जरूरत पड़ती है। जिसकी कमी होने से रेड ब्लड सेल्स का निर्माण नहीं हो पाता है, जिसे विटामिन डेफिसिएंसी एनीमिया कहते हैं। विटामिन डेफिसिएंसी एनीमिया तब होती है, जब हम अपने आहार में विटामिन बी12, विटामिन सी और फोलेट नहीं लेते हैं। कभी-कभी हमारा शरीर विटामिन बी12, विटामिन सी और फोलेट को अवशोषित करना बंद कर देता है तो भी विटामिन डेफिसिएंसी एनीमिया की स्थिति पैदा हो जाती है।
विटामिन डेफिसिएंसी एनीमिया का इलाज डॉक्टर कारणों और लक्षणों के आधार पर करते हैं। विटामिन बी12 (Vitamin B12), विटामिन सी (Vitamin C) और फोलेट (Folat) के सप्लिमेंट्स दे कर डॉक्टर विटामिन डेफिसिएंसी एनीमिया (Vitamin deficiency anemia) का इलाज करते हैं।