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कॉमन एजिंग कंडीशंस : बढ़ती उम्र में किन चीजों को नहीं करना चाहिए नजरअंदाज, जानिए

के द्वारा मेडिकली रिव्यूड डॉ. प्रणाली पाटील · फार्मेसी · Hello Swasthya


AnuSharma द्वारा लिखित · अपडेटेड 01/04/2021

    कॉमन एजिंग कंडीशंस : बढ़ती उम्र में किन चीजों को नहीं करना चाहिए नजरअंदाज, जानिए

    जीवन की कुछ सच्चाईयां ऐसी होती हैं, जिन्हें हम झुठला नहीं सकते। उन्हीं में से एक है एजिंग यानी बुढ़ापा। उम्र के बढ़ने के साथ मनुष्य ज्यादा मच्योर हो जाता है और अपने जीवन के अनुभवों से बहुत कुछ सीखता है। लेकिन, इस दौरान न केवल हमारा शरीर कमजोर हो जाता है बल्कि और भी कई स्वास्थ्य समस्याओं का सामना करना पड़ता है। जैसे चेहरे पर झुर्रियां और बालों का सफेद होना। इस उम्र में डायबिटीज (Diabetes), हार्ट संबंध समस्याएं (Heart Problems), ब्लड प्रेशर (Blood Pressure), संतुलन का बिगड़ना (Poor Balance) जैसी परेशानियां भी पीछा नहीं छोड़ती। जानिए, सामान्य वृद्धावस्था समस्याएं (Common Ageing Conditions) कौन-कौन सी हैं। एजिंग में फिट और स्वस्थ रहने के लिए आपको क्या करना चाहिए, इसके बारे में भी पूरी जानकारी पाएं।

    एजिंग के साथ होने वाली कॉमन हेल्थ कंडीशन या सामान्य वृद्धावस्था समस्याएं (Common Ageing Conditions)

    बुढ़ापा अपने साथ केवल सफेद बाल, झुर्रियां या कमजोर याददाश्त ही लेकर नहीं आता। बल्कि, बुढ़ापे में कई शारीरिक और मानसिक समस्याओं का जोखिम बहुत अधिक बढ़ जाता है और उससे भी मुश्किल होता है इन समस्याओं का सामना करना। जानिए सामान्य वृद्धावस्था समस्याएं (Common Ageing Conditions) कौन सी हैं और आप उनका सामना कैसे कर सकते हैं।

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    कॉग्निटिव डिक्लाइन (Cognitive Decline)

    सामान्य वृद्धावस्था समस्याएं कौन सी हैं, इनमें सबसे पहले है कॉग्निटिव डिक्लाइन (Cognitive Decline)। उम्र बढ़ने के साथ कुछ मेमोरी लॉस होना आम है, लेकिन अल्जाइमर रोग सामान्य नहीं है। इसलिए अल्जाइमर के शुरुआती संकेतों को पहचानना महत्वपूर्ण है, क्योंकि शुरू में ही निदान और उपचार रोग की गति को धीमा करने में सहायक हो सकते हैं। इसका मुख्य लक्षण है चीजों को भूलना।

    कॉग्निटिव डिक्लाइन का कोई उपचार नहीं है। लेकिन परिजनों के सपोर्ट और दवाइयों से इस समस्या के लक्षणों को कंट्रोल किया जा सकता है। डॉक्टर कभी-कभी माइल्ड कॉग्निटिव इम्पेयरमेंट (Mild Cognitive Impairment) वाले लोगों के लिए, अल्जाइमर रोग )Alzheimer’s Disease) में दी जाने वाली दवा की सलाह दे सकते हैं।

    सामान्य वृद्धावस्था समस्याएं

    हार्ट समस्याएं (Heart Problems)

    65 वर्ष से अधिक उम्र के बुजुर्गों में हार्ट समस्याएं भी आम हैं। इससे बचने के लिए उच्च रक्तचाप (High Blood Pressure) और कोलेस्ट्रॉल (Cholesterol) जैसी स्थितियों को ठीक से मैनेज करने की आवश्यकता है। इसके साथ ही अपने हार्ट की अच्छे से देखभाल करने से भी आप हार्ट समस्याओं से बच सकते हैं। बुजुर्ग अपनी सेहत का ख्याल रख कर इस परेशानी को काफी हद तक मैनेज कर सकते हैं। जैसे संतुलित और स्वस्थ आहार का सेवन, स्मोकिंग और अल्कोहल के सेवन से बचना, रोजाना एक्सरसाइज करना, बुरे वसा का सेवन कम करना आदि।

    डायबिटीज (Diabetes)

    ऐसा माना जाता है कि लगभग 25% सीनियर्स डायबिटीज (Diabetes) से पीड़ित होते हैं। 65 की उम्र के बाद इसका खतरा और भी अधिक बढ़ जाता है। हाय ब्लड ग्लूकोज का स्वास्थ्य पर बहुत बुरा प्रभाव पड़ सकता है। इसका भी कोई इलाज नहीं है। लेकिन, आप डायबिटीज को मैनेज करके इस समस्या से काफी हद तक छुटकारा पा सकते हैं जैसे: अतिरिक्त वजन कम करना, एक्टिव जीवन शैली अपनाना, अपने आहार को सही रखना और तनाव से बचना आदि।

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    हायपरटेंशन (Hypertension)

    सामान्य वृद्धावस्था समस्याएं (Common Ageing Conditions) क्या हैं, इसमें अगली समस्या है हाइपरटेंशन। हाइपरटेंशन यानी हाय ब्लड प्रेशर (High Blood Pressure)। यह सबसे घातक बीमारियों में से एक माना जाता है क्योंकि इसके लक्षण हमेशा स्पष्ट नहीं होते हैं। गंभीर स्थितियों में दिल के दौरे या स्ट्रोक का खतरा बढ़ सकता है। निम्नलिखित कुछ तरीकों से आप हाय ब्लड प्रेशर के प्रभावों को कम कर सकते हैं:

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    मानसिक विकार (Mental Disorders)

    उम्र बढ़ने के साथ सामान्य वृद्धावस्था समस्याएं (Common Ageing Conditions) जो प्रभावित करती हैं वो केवल शारीरिक नहीं होती बल्कि मानसिक भी हो सकती हैं। इन सामान्य वृद्धावस्था समस्याओं में पार्किंसंस (Parkinson disease), अवसाद (Depression), चिंता (Anxiety) और अल्जाइमर रोग (Alzheimer’s disease) शामिल हैं। आप कुछ कदम उठाकर इनमें से अधिकांश समस्याओं का सामना आसानी से कर सकते हैं जैसे:

    • शारीरिक रूप से एक्टिव रहना
    • सही आहार का सेवन
    • नए शौकों को पूरा करना और खुश रहना
    • तनाव से बचना

    गठिया (Arthritis)

    गठिया एक अन्य कॉमन हेल्थ कंडीशंस है। यह बीमारी जीवन के लिए खतरा नहीं है, लेकिन इससे मांसपेशियों और जोड़ों में दर्द होता है, जिससे आपके जीवन की गुणवत्ता पर प्रभाव पड़ सकता है। निम्नलिखित कुछ तरीके हैं जिनसे आप गठिया के लक्षणों को कम कर सकते हैं जैसे:

    • शारीरिक एक्टिविटीज में भाग लेना, विशेष रूप से जो गठिया के लिए बेहतरीन हो।
    • रोजाना के कार्यों को खुद करना
    • अपने आहार में नट्स, जैतून का तेल, वसायुक्त मछलियां आदि को शामिल करें।

    डीहायड्रेशन (Dehydration)

    डीहायड्रेशन, यानी, शरीर में तरल पदार्थों की अनुपस्थिति। यह समस्या स्वास्थ्य पर बुरा प्रभाव डाल सकती है, खासकर जब आपकी उम्र अधिक हो जाती है। ऐसा इसलिए है क्योंकि यह यूरिनरी ट्रैक्ट इन्फेक्शन(urinary tract infection) और निमोनिया (Pneumonia) जैसी अन्य गंभीर समस्याओं से जुडी हुई है। डिहाइड्रेशन को रोकने के लिए कुछ सुझाव निम्नलिखित हैं:

    लाइफस्टाइल चैलेंजेज

    सामान्य वृद्धावस्था समस्याएं (Common Ageing Conditions) केवल शारीरिक और मानसिक ही नहीं है बल्कि उनके लाइफस्टाइल (Lifestyle) में भी कई चुनौतियां आती हैं। यह चुनौतियां इस तरह से हैं:

    • अकेलापन एक ऐसी समस्या है जिसका अधिकतर सीनियर सामना करते हैं। खासतौर, पर अगर उनका साथी जीवित न हो या बच्चे उनके साथ न रहते हों।
    • कई खतरे घर में ही मौजूद होते हैं। जैसे किसी पायदान या गीले फर्श के कारण बुजुर्गों को संतुलन बिगड़ना। जिसके कारण उन्हें चोट लग सकती है।
    • दिमागी समस्याओं (Mental Problems) या थकावट के कारण सीनियर अपनी दवाई तक लेना भूल जाते हैं। अपने जरूरी कामों और अन्य तरह की सहायता के लिए उन्हें अन्य लोगों पर निर्भर रहना पड़ता है।

    सामान्य वृद्धावस्था समस्याएं

    सीनियर सिटीजन के लिए ये हैं कुछ ऐसी एक्सरसाइजेज, जो हेल्थ कंडीशन से बचा सकती हैं! (Exercises for seniors)

    व्यायाम और पोषण एक स्वस्थ जीवनशैली के आवश्यक अंग हैं। जैसे-जैसे हमारी उम्र बढ़ती हैं, हमारी आवश्यकताएं भी बदल जाती हैं। उम्र के बढ़ने के साथ-साथ आपके लाइफस्टाइल का हेल्दी होना आवश्यक है जिनमें सही व्यायाम भी शामिल है। जानिए सीनियर सिटीजन के लिए कुछ ऐसी एक्सरसाइजेज के बारे में जो उन्हें हेल्थ कंडिशन से बचा सकती हैं या राहत प्रदान कर सकती हैं।

    चेयर स्क्वॉट्स (Chair Squats)

    स्ट्रेंथ एक्सरसाइज केवल बॉडीबिल्डर्स के लिए ही नहीं होती ,बल्कि मजबूत मांसपेशियां आपको रोजाना के कामों में मदद करती हैं। इन्हीं एक्सरसाइजेज में से एक है चेयर स्क्वॉट्स। जानिए इस व्यायाम को कैसे करना चाहिए:

    • चेयर स्क्वॉट्स (Chair Squats) करने के लिए सबसे पहले एक कुर्सी लें और इसके आगे पीठ करके खड़े हो जाएं।
    • इस दौरान आपके पैरों में थोड़ा अंतर होना चाहिए।
    • अब अपने घुटनों को मोड़ें और अपने कंधों व छाती को सीधा रखें।
    • अब अपने कूल्हों को जमीन की तरफ ले जाएं ताकि आप कुर्सी पर बैठ सकें।
    • इसके बाद अपने शरीर को फिर से सीधा खड़े होने की स्थिति में ले जाएं।
    • इस व्यायाम को बार-बार दोहराएं।

    चेयर स्क्वाट्स

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    वॉल पुश-अप्स (Wall Push-Ups)

    यह पुश-अप्स करने से आपका पूरा ऊपरी शरीर मजबूत बनेगा। सामान्य वृद्धावस्था समस्याएं (Common Ageing Conditions) भी इससे कुछ हद तक कम हो सकती हैं जैसे जोड़ों या घुटनों में दर्द आदि। जानिए कैसे करते हैं इसे:

    • वॉल पुश-अप्स करने के लिए किसी दीवार के आगे थोड़ी सी दूरी पर खड़े हो जाएं।
    • अपने दोनों हाथों को दीवार पर रखें।
    • अब अपने शरीर को सीधा रखते हुए कोहनियों को मोड़ें और अपने शरीर को दीवार की तरफ ले जाएं।
    • जब आप का चेहरा बिलकुल दीवार के पास पहुंच जाए, तो अपनी बाजुओं को सीधा कर लें और शरीर को शुरुआती स्थिति में ले जाएं।
    • इस व्यायाम को दोहराएं।

    वाल पुश-अप्स

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    सिंगल फुट स्टैंड (Single Foot Stand)

    बुढ़ापे में सामान्य वृद्धावस्था समस्याएं (Common Ageing Conditions) बढ़ती हैं और उन्हीं में से एक है गिरना। बढ़ती उम्र में शरीर का संतुलन बिगड़ जाता है, जिससे वो बार-बार गिरने की परेशानी का सामना करते हैं। यह एक्सरसाइज आपके लिए अपने संतुलन को बनाए रखने में मदद कर सकती हैं। जानिए कैसे करें इस व्यायाम को:

    • इस व्यायाम को करने के लिए सीधा खड़ा हो जाएं।
    • अब अपने दाएं पैर को ऊपर उठाएं और अपनी बाएं पैर पर अपने शरीर का भार डालते हुए बैलेंस करने की कोशिश करें।
    • इसके बाद अपने दाएं पैर को नीचे जमीन पर रख दें और अपने बाएं पैर के साथ बैलेंस करने की कोशिश करें।
    • आपका लक्ष्य एक पैर पर संतुलन बनाना है। लेकिन, अगर आप ऐसा न कर पा रहे हों तो कुर्सी का सहारा ले सकते हैं।

    सिंगल फुट स्टैंड

    ताड़ासन (Tadasana)

    ताड़ासन (Tadasana) सामान्य वृद्धावस्था समस्याएं (Common Ageing Conditions) जैसे स्ट्रेंथ और बैलेंस बनाने के लिए उपयोगी माना जाता है। बुढ़ापे में यह एक्सरसाइज आपके बहुत काम आएगी और इसे करना भी आसान है। जानिए कैसे करते हैं इसे:

    • इसे करने के लिए सीधा खड़े हो जाए और अपनी कमर को भी सीधा रखें।
    • अपने दोनों हाथों को सिर के ऊपर ले जाएं।
    • अब सांस लेते हुए अपने पूरे शरीर को ऊपर की तरफ पुश करें।
    • यह खिंचाव आपको पूरे शरीर में महसूस होना चाहिए
    • इसी स्थिति में कुछ देर रहने के बाद अपनी सामान्य स्थिति में आ जाएं।
    • इसे दोहराएं।

    ताड़ासन

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    लेग बैलेंस एक्सरसाइज (Leg Balance Exercise)

    लेग बैलेंस एक्सरसाइज (Leg Balance Exercise) करने से भी आपको संतुलन बनाने में मदद मिलेगी। जो उम्र के बढ़ने के साथ होने वाली सबसे सामान्य समस्या है। जानिए कैसे करें इस व्यायाम को:

    • इस एक्सरसाइज को करने के लिए सबसे पहले आप बिलकुल सीधे खड़े हो जाएं।
    • आप पैरों के बीच में थोड़ा अंतर होना चाहिए और कंधे सीधे होने चाहिए।
    • अब एक पैर को धीरे से उठाते हुए अपने शरीर के बिल्कुल सामने ले जाने की कोशिश करें।
    • अब कुछ देर इसी पोजीशन में रहने के बाद अपने पैर को नीचे रख दें।
    • यही प्रक्रिया दूसरे पैर के साथ भी दोहराएं।

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    सीनियर सिटीजन्स की डायट कैसी होनी चाहिए? (Diet for seniors)

    सामान्य वृद्धावस्था समस्याएं (Common Ageing Conditions) क्या होती हैं, इसके बारे में तो आप जान ही गए होंगे। लेकिन, सीनियर सिटीजन्स को हेल्दी रहने के लिए एक्सरसाइज के साथ साथ सही आहार की भी जरूरत होती है। अगर आप सही खाएंगे और एक्टिव रहेंगे।  उम्र के बढ़ने पर स्वस्थ खाने की परिभाषा थोड़ी बदल जाती है। उदाहरण के लिए, जैसे-जैसे उम्र बढ़ती है, मेटाबोलिज्म (metabolism) धीमा हो जाता है, इसलिए अब आपको पहले की तुलना में कम कैलोरी की आवश्यकता होती है। यही नहीं, आपके शरीर को कुछ खास पोषक तत्वों की भी जरूरत होती है। जानिए, सीनियर सिटीजन्स की डायट कैसी होनी चाहिए

    क्या खाना चाहिए? (What To Eat)

    सीनियर सिटीजन्स को खाने के साथ ही उन चीजों का भी ध्यान रखना चाहिए जो उन्हें नहीं खानी है। कुछ खाद्य पदार्थ उनके लिए नुकसानदायक साबित हो सकते हैं। जानिए इसके बारे में और अधिक:

    आपको अपने आहार में विभिन्न प्रकार के खाद्य पदार्थों को शामिल करना चाहिए ताकि आपको भरपूर नुट्रिएंट्स मिलें। जैसे:

    • लीन प्रोटीन (लीन मीट, अंडे, बींस आदि)
    • फल और सब्जियां (सभी मौसमी सब्जियां और फल जैसे संतरे, पालक, गोभी, मटर, सेब, पपीता, ब्रॉक्ली,अनार आदि)
    • साबुत अनाज (ब्राउन राइस, ओट्स)
    • लौ-फैट डेयरी (दूध और दूध से बनी चीजें पनीर, दही आदि)
    • पोटैशियम से भरे खाद्य पदार्थ जैसे जीरा, मेथी या कोकोनट वाटर खाने से मांसपेशियों को मजबूती मिलती है।
    • अधिक से अधिक पानी और अन्य तरल पदार्थों का सेवन करें।

    क्या नहीं खाना चाहिए? (What Not To Eat)

    • कैफीन युक्त चीजें जैसे चाय, कॉफ़ी
    • अधिक चीनी व नमक
    • कच्चे अंडे और मीट
    • लौ फैट फूड
    • अनपाश्चराइज्ड मिल्क

    सामान्य वृद्धावस्था समस्याएं

    इस उम्र में स्मोकिंग करने और या एल्कोहॉल का सेवन करने के परिणाम (Results of Smoking and Drinking)

    बुढ़ापा या वृद्धावस्था जीवन का एक ऐसा समय है। जब आप फिजिकल रूप से कमजोर होने के कारण दूसरों पर आश्रित हो जाते हो। लेकिन, अगर आप कुछ चीजों का ध्यान रखें तो आप इंडिपेंडेंट अपना जीवन बिता सकते हैं। उन्हीं में से एक है स्मोकिंग या एल्कोहॉल का सेवन न करना। स्मोकिंग या एल्कोहॉल का सेवन किसी भी उम्र के लोगों के लिए हानिकारक है, लेकिन यह वयस्कों की तुलना में बूढ़े लोगों में अलग तरह से काम करते हैं। इसके कई बुरे परिणाम भी हो सकते हैं जो इस प्रकार हैं:

    • स्मोकिंग या एल्कोहॉल के कारण आपको कई बीमारियां होने का खतरा बढ़ जाता है जैसे किसी तरह का कैंसर (Cancer), लिवर डैमेज (Liver Damage), इम्यून सिस्टम डिसऑर्डर्स (Immune System Damage) और ब्रेन डैमेज (Brain Damage)।
    • इनके कारण ऑस्टियोपोरोसिस (Osteoporosis), मधुमेह (Diabetes), उच्च रक्तचाप (High Blood Pressure), स्ट्रोक (Stroke), अल्सर (Ulcer), मेमोरी लॉस (Memory Loss) और मूड डिसऑर्डर (Mood Disorder) की समस्या बढ़ सकती है।
    • डॉक्टरों के लिए कुछ मेडिकल प्रोब्लेम्स को हल करना और इलाज करना मुश्किल हो सकता है – उदाहरण के लिए, शराब हृदय और ब्लड वेसल्स में परिवर्तन का कारण बनती है। ये परिवर्तन दर्द को कम कर सकते हैं जो हार्ट अटैक (Heart Attack) का एक वार्निंग संकेत हो सकते हैं।
    • इनके कारण कुछ लोग भुलक्कड़ और भ्रमित हो सकते हैं। इन लक्षणों को अल्जाइमर रोग (Alzheimer’s disease) के लक्षण भी माना जा सकता है।

    यह भी पढ़ें: उम्र बढ़ने के साथ घबराएं नहीं, आपका दृढ़ निश्चय एजिंग माइंड को देगा मात

    यह सामान्य वृद्धावस्था समस्याएं (Common Ageing Conditions) जीवन के इस पड़ाव पर आपको हताश और परेशान कर सकती हैं। ऊपर से अगर आप अकेले हैं तो आपकी मुश्किलें और भी बढ़ सकती हैं। लेकिन, इस बात को समझना बहुत जरूरी है कि यह जीवन का अंत नहीं बल्कि एक नई शुरुआत है। अगर आप इन चीजों का ध्यान रखेंगे और हेल्दी लाइफस्टाइल अपनाएंगे, तो आप इस दौर को भी खूबसूरत और यादगार बना सकते हैं।

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